सावधान, पब्लिक फ्री Wi-Fi से ऑनलाइन ट्रांजैक्शन खतरनाक है, कैसे बचेंगे?


ऑनलाइन ट्रांजैक्शन का जमाना है, स्मार्टफोन जितनी तेजी से इंसान की जिंदगी में अपनी जगह बना रहा है, उतनी ही तेजी से इंसान स्मार्ट बैंकिंग सेवाओं का इस्तेमाल कर रहा है। एक तरह से कह सकते हैं कि आज का जमाना 'कर लो बैंकिग मुठ्ठी में।'  ऊपर से पब्लिक जगहों मसलन, रेलवे स्टेशनों, मॉल, कॉलेजों, पार्क, लाइब्रेरी, रेस्टोरेंट, हवाईअड्डों बगैरह पर फ्री वाई-फाई की सुविधा दी जा रही है। यानी बिना कोई पैसा दिए आप इंटरनेट का इस्तेमाल कर सकते हैं, ऑनलाइन लेन-देन कर सकते हैं, वीडियो डाउनलोड-अपलोड कर सकते हैं, रेलवे-बस-मूवी, हवाईजहाज का टिकट बुक करा सकते हैं। माना फ्री वाई-फाई से हमारी जिंदगी आसान बन गई है वो भी बिना किसी खर्च के,  लेकिन क्या आपको पता है पब्लिक फ्री वाई-फाई का इस्तेमाल आपके लिए कितना खतरनाक और हानिकारक है। नहीं, तो चलिए मैं आपको इसके हानिकारक पहलू से अवगत कराता हूं....
-रेलवे स्टेशन हो या पार्क, रेस्टोरेंट हो या हवाई अड्डा आज हर जगह मुफ्त में वाईफाई सेवा उपलब्ध है उपभोक्ता भी बढ़चढ़ कर इस सेवा का आनंद उठाते हैं। परंतु फ्री वाईफाई पर हमेशा हैकर्स की नजर होती है। वो फोन या लैपटॉप में वायरस भेजते हैं जो डाटा चोरी करने का कार्य करते हैं।
- पब्लिक वाई-फाई आसान एक्सेस है, क्योंकि कोई भी (हैकर्स सहित) इसे एक्सेस कर सकता है। इसके अलावा, किसी भी जानकारी को ऐसे नेटवर्क से भेजते हैं या प्राप्त करते हैं तो जिसे हैंकिंग की थोड़ी भी जानकारी है, उसके द्वारा वह इंटरसेप्ट की जा सकती है। उदाहरण के लिए, यदि आप एक असुरक्षित वाई-फाई कनेक्शन पर ऑनलाइन खरीदारी कर रहे हैं, हैकर्स खुद को आपके और शॉपिंग पोर्टल के बीच रख सकत हैं, आपकी सभी जानकारी की जासूसी कर सकता है। यह हैकिंग तकनीक मैन-इन-द-मिडल अटैक (MITM) कहलाती है। 
-वाई फाई से ब्‍लूटूथ की तुलना में कई गुना तेजी से डाटा ट्रान्‍सफर किया जा सकता है। इसी वजह से यह यूजर्स की पहली पसंद बन गया है साथ ही हैकर्स की भी।

-वाई वाई नेटवर्क जितना ज्‍यादा तेज है उतनी ही ज्‍यादा तेजी से हैक भी किया जा सकता है, इसके लिये आापको चाहिये कि आप सावधानी से इस नेटवर्क का प्रयोग करें -

-फ्री वाईफाई का यूज करने से बचें, हैक करने पर आापके फोन की सारी जानकारी पलभर में हैकर्स तक पहुंच सकती है, जिसके आपके पासवर्ड, तस्‍वीरें, बैंक की जानकारी भी हो सकती है।

-हनिपॉट, जी हॉ यह हैकर्स द्वारा बनाया गया नकली वाई फाई नेटवर्क होता है, जिसे वह पब्लिक वाई फाई का नाम दे देते हैं, इसे किसी भी मोबाइल फोन या लैपटॉप की सहायता से आसानी से बनाया जा सकता है, इससे भी अआपकी निजी जानकारी चुरायी जा सकती है। 

>पब्लिक फ्री वाई-फाई के खतरे हैं तो बचने के उपाय भी हैं। कुछ टिप्स अपना कर आप हैकर्स से खुद को बचा सकते हैं, जानिए बचने की टिप्स:

- वित्तीय लेन-देन, बैंक विवरण, आदि जैसे संवेदनशील गतिविधियों के लिए वाई-फाई का इस्तेमाल करने से बचें यानी ट्रांजेक्शन न करें: पब्लिक वाईफाई में सभी सु​रक्षा के एहतियात बरतने के बावजूद यह कहा जा सकता है कि कोशिश करें कि बैंकिंग सम्बंधि जानकारी न डालें और अपने क्रेडिट कार्ड व किसी ट्रांजेक्शन को अंजाम न दें। इसमें सूचनाएं चोरी होने का खतरा हमेशा बना होता है।

-सर्विस प्रोवाइडर से नेटवर्क की प्रामाणिकता की पुष्टि करें यानी नकली वाईफाई से बचें: जहां पब्लिक वाईवाई सेवा दी जाती हैं वहां गौर करेंगे तो कई अन्य वाईफाई सेवाएं भी मिलेंगी। इनमें से कई नकली होती हैं जो सिर्फ और ​सिर्फ डाटा चोरी करने कार्य करते हैं। आप उनसे बचें। सबसे पहले पता करें कि किस नाम से पब्लिक वाईफाई सेवा दी जा रही है और उसी का उपयोग करें। नकली  वाईफाई आसानी से कनेक्ट हो जाता है और कनेक्ट के साथ ही ढेर सारा वायरस डिवाइस में चला जाता है।

-अतिरिक्त सेफ्टी के लिए वीपीएन (वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क) का इस्तेमाल करें: यदि आप पब्लिक वाईफाई का उपयोग बहुत ज्यादा करते हैं तो पीपीएन नेटवर्क का उपयोग करें। हालांकि इस सेवा के लिए थोड़े पैसे चुकाने होते हैं लेकिन इसके माध्यम से आप काफी हद तक सुरक्षित रहते हैं। ब्राउजिंग के दौरान वायरस आने का खतरा कम होता है। एंडारॉयड फोन और विंडोज आॅपरेटिंग सिस्टम के लिए आज कई वीपीएन सेवाएं उपलब्ध हैं। इसमें डिवाइस के साथ आपकी निजी जानकारियां जैसे पासवर्ड, ईमेल इत्यादि भी सुरक्षित होते हैं।

-सभी शेयरिंग एप्लिकेशंस को बंद कर दें: यदि आप पब्लिक वाईफाई का उपयोग कर रहे हैं तो सबसे पहले फोन और लैपटॉप की सभी शेयरिंग एप्लिकेंशंस को बंद कर दें। जैसे- ब्लूटूथ,​ प्रिंटर या किसी अन्य डिवाइस के साथ आपने फोन को कनेक्ट कर रखा है तो उसे भी ऑॅफ कर दें। शेयरिंग वायरस आने का सबसे बड़ा माध्यम होता है।

- https का करें उपयोग करें :
वाईफाई हॉटस्पॉट का उपयोग करने के दौरान हमेशा httpsवेबसाइट ही ब्राउज करें। आप जब किसी वेबसाइट का उपयोग करते हैं तो पाएंगे कि शुरुआत में http और https लिखा होता है। आप उन साइट का उपयोग करें जो https पर हैं वे ज्यादा सुरक्षित होती हैं। ​विंडोज आपरेटिंग सिस्टम आधारित लैपटॉप में क्रोम और फायरफॉक्स ब्राउजर के साथ आप एचटीटीपीएस एवरीवेयर एक्सटेंशन का उपयोग कर सकते हैं। वहीं एंड्रॉयड स्मार्टफोन में आप क्रोम ब्राउजर का उपयोग कर सकते हैं। इसमें https एवरीवेयर एक्टिव करने का विकल्प होता है।

-दो लेयर आथेंटिकेशन:
यदि आप वाईफाई हॉट-स्पॉट का उपयोग कर रहे हैं और अपना ईमेल आईडी या कोई अकाउंट खोल रहे हैं तो कोशिश करें कि दोहरे लेयर वाले पासवर्ड का उपयोग करें। इसमें पासवर्ड डालने के बाद आॅथेंटिकेशन के लिए कोड फोन पर आता है जो बेहद सुरक्षित होता है।

-फायरवॉल ऑन करें:
यदि आप पब्लिक वाईफाई का उपयोग कर रहे हैं तो अपने सिस्टम में फायरवॉल को एक्टिव करें। ज्यादातर ऑपरेटिंग सिस्टम  में फायरवॉल को ऑॅन करने का विकल्प दिया होता है। वहीं एंडरॉयड फोन के लिए आप फायरवॉल एप्लिकेशन डाउनलोड कर सकते हैं। ​विंडोज ऑॅपरेटिंग सिस्टम आधारित लैपटॉप या सिस्टम में फायरवॉल का विकल्प कंट्रोल पैनल के सिस्टम एंड सिक्योरिटी में मिलेगा।

-ऑॅटोमैटिक कनेक्ट न करें:
अक्सर हम फोन और लैपटॉप को ऑॅटोमैटिक वाईफाई कनेक्ट पर रखते हैं। पब्लिक वाईफाई की स्थिति में ऐसा कभी न करें। एक बार आपने वाईफाई कनेक्ट कर लिया तो उसके बाद नेटवर्क से हटने के बाद वाइफाई को फॉर्गेट कर दें। इससे वह स्वत: कनेक्ट नहीं होगा। ऑॅटोमैटिक कनेक्ट आपके लिए नुकसानदेह हो सकता है।

- एंटी वायरस:
पब्लिक वाईफाई का उपयोग रहे हैं तो अपने पीसी और मोबाइल में एंटीवायरस एप्लिकेशन का उपयोग करें और बार-बार उसे स्कैन भी करें।

-यूनिक पासवर्ड: पब्लिक वाईफाई का उपयोग करने के दौरान आप अपने अकाउंट और ईमेल आईडी के लिए यूनिक पासवर्ड का उपयोग करें तो भी बेहतर है। इस तरह के पासवर्ड को हैक करना थोड़ा ​मुश्किल होता है।

- सॉफ्टवेयर रखें अपडेट:
आप मोबाइल पर ​पब्लिक वाईफाई का उपयोग कर रहे हों या फिर डेस्कटॉप पर ब्राउजर और ऑॅपेरटिंग सिस्टम को हमेशा अपडेट रखें। अपडेट में डिवाइस की सु​रक्षा के लिए कई खास इंतजाम किए जाते हैं।

क्या है वाई-फाई:  
फोन लाइन के सहारे इंटरनेट अब बीते जमाने की बात हो गई है। आजकल तो वाईफाई का जमाना है, जिसके सहारे बिना किसी तार के इंटरनेट एक्सेस किया जा सकता है।वाई-फाई एक वायरलेस टेक्नोलॉजी है जिसका खासा इस्तैमाल इन्टरनेट से जुड़ने के लिए किया जाता है. वाई-फाई (wi-fi) का फुल नेम वायरलेस फिडेलिटी है। यह वाई-फाई एक ऐसा नेटवर्क है जो रेडियो सिग्नल को ब्रॉडकास्ट करके उच्च स्पीड का ट्रांसमिशन बनता है जिससे लोग आसानी से इन्टरनेट से जुड़ कर अच्छी स्पीड के साथ इन्टरनेट चलाते हैं। आज कल जितने भी लैपटॉप, टेबलेट, नोटबुक, स्मार्ट फ़ोन आ रहे है सब में वाई-फाई फैसिलिटी है। वाई-फाई नेटवर्क के लिए एक राऊटर की जरूरत पड़ती है जो वाई-फाई सिंग्नल को फैलाकर कर वाई-फाई फैसिलिटी से युक्त डिवाईसो को कनेक्ट करता है। इस समय वाई-फाई का प्रयोग एअरपोर्ट, बड़े बड़े होटल, ऑफिस,यूनिवर्सिटी कैम्पस में किया जा रहा है।
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